वर्ष 2024 में दुनिया की शीर्ष 10 सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाएँ
हाल ही में विश्व आर्थिक परिदृश्य 2024 (World Economic Outlook 2024) के अनुसार, भारत वर्ष 2024 में दुनिया की शीर्ष 10 सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में 5वें स्थान पर पहुँच गया है।
परिचय
GDP आँकड़ों के अनुसार, वर्ष 2024 में दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में संयुक्त राष्ट्र अमेरिका, चीन, जापान, जर्मनी और भारत शामिल हैं।
गणना के लिए मापक: GDP किसी देश के आर्थिक आकार को मापने के लिए एक महत्त्वपूर्ण मापक के रूप में कार्य करता है।
विधि: किसी देश के सकल घरेलू उत्पाद की गणना करने की पारंपरिक विधि में व्यय दृष्टिकोण शामिल है, जो नए उपभोक्ता वस्तुओं, निवेश, सरकारी व्यय और निर्यात के शुद्ध मूल्य पर खर्च को जोड़ता है।
विश्व की शीर्ष अर्थव्यवस्थाएँ
संयुक्त राज्य अमेरिका: 26 ट्रिलियन डॉलर से अधिक GDP के साथ, संयुक्त राष्ट अमेरिका दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बना हुआ है।
चीन: चीन की अर्थव्यवस्था ने हाल के दशकों में तीव्र वृद्धि की है, जो वर्ष 2024 में लगभग 18.53 ट्रिलियन डॉलर की GDP तक पहुँच जाएगी।
जर्मनी:4.4 ट्रिलियन डॉलर के सकल घरेलू उत्पाद के साथ दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था, जर्मनी का मजबूत विनिर्माण क्षेत्र, विशेष रूप से ऑटोमोटिव और इंजीनियरिंग क्षेत्रों में, वर्ष 2024 में इसके 4.30 बिलियन डॉलर के सकल घरेलू उत्पाद में योगदान देगा।
जापान: जापान चौथी सबसे बड़ी, सबसे विकसित और तकनीकी रूप से उन्नत अर्थव्यवस्था है, जिसका वर्ष 2024में सकल घरेलू उत्पाद 4.11 ट्रिलियन डॉलर होगा।
भारत: दुनिया की पाँचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था, वर्ष 2024 में 3.94 हजार बिलियन डॉलर से अधिक GDP के साथ भारत की अर्थव्यवस्था वर्तमान में तेजी से आगे बढ़ रही है।
हाल ही में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने ‘राष्ट्रीय फोरेंसिक अवसंरचना संवर्द्धन योजना’(National Forensic Infrastructure Enhancement Scheme- NFlES) नामक एक केंद्रीय क्षेत्रक योजना को मंजूरी दी है।
राष्ट्रीय फोरेंसिक अवसंरचना संवर्द्धन योजना (NFIES)
उद्देश्य: इस योजना का उद्देश्य केंद्रीय फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला (CFSL) नेटवर्क का विस्तार करना और राष्ट्रीय फोरेंसिक विज्ञान विश्वविद्यालय (NFSU) के लिए अतिरिक्त परिसर स्थापित करना है।
इस योजना में NFSU के दिल्ली परिसर में बुनियादी ढाँचे को बढ़ाने की योजना भी शामिल है।
वित्तीय परिव्यय (Financial Outlay): इस योजना का वर्ष 2024-25 से वर्ष 2028-29 की अवधि के लिए कुल वित्तीय परिव्यय 2254.43 करोड़ रुपये है।
योजना का महत्त्व
नए कानूनों से संबंधित: यह मंजूरी नए आपराधिक कानूनों के लागू होने के मद्देनजर दी गई है, जो सात वर्ष या उससे अधिक की सजा वाले अपराधों के लिए फोरेंसिक जाँच को अनिवार्य बनाते हैं।
कार्यभार में वृद्धि: नए कानूनों से भारत भर में फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशालाओं (FSLs) के कार्यभार में उल्लेखनीय वृद्धि होने की उम्मीद है, जो पहले से ही लंबित कार्यों से जूझ रही हैं।
जनशक्ति की कमी से निपटना: इस योजना का उद्देश्य प्रशिक्षित फोरेंसिक कर्मियों की कमी से निपटना, फोरेंसिक प्रयोगशालाओं में लंबित मामलों को कम करना तथा 90% से अधिक दोषसिद्धि दर प्राप्त करने के भारत सरकार के उद्देश्य में सहायता करना है।
कृषि सखी
(Krishi Sakhi)
हाल ही में प्रधानमंत्री ने स्वयं सहायता समूहों (Self Help Groups) की 30,000 से अधिक महिलाओं को कृषि सखी के रूप में प्रमाण-पत्र प्रदान किए।
कृषि सखी अभिसरण कार्यक्रम (KSCP)
परिचय: यह केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय तथा केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय के बीच समझौता ज्ञापन के तहत एक पहल है, जिसका उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं के कौशल में सुधार करना है।
प्रशिक्षण और प्रमाणन: KSCP ग्रामीण महिलाओं, जिन्हें कृषि सखी कहा जाता है, को पैरा-विस्तार कार्यकर्ता के रूप में प्रशिक्षित करता है।
उन्हें मृदा स्वास्थ्य, एकीकृत कृषि प्रणाली, पशुधन प्रबंधन और कृषि-पारिस्थितिकी पद्धतियों को कवर करने वाला 56 दिवसीय व्यापक प्रशिक्षण दिया जाता है।
‘लखपति दीदी’ कार्यक्रम का विस्तार: KSCP ने सरकार की ‘लखपति दीदी’ पहल का विस्तार किया है, जिसका उद्देश्य आर्थिक आत्मनिर्भरता के अवसरों के माध्यम से महिलाओं को सशक्त बनाना है।
इस कार्यक्रम का लक्ष्य ग्रामीण महिलाओं को कुशल पैरा-एक्सटेंशन श्रमिकों में परिवर्तित करना है।
कृषि सखियों की संख्या: आज तक 70,000 में से 34,000 कृषि सखियों को पैरा-विस्तार कार्यकर्ता के रूप में प्रमाणित किया गया है।
जूनेटीन्थ
(Juneteenth)
जूनेटीन्थ (Juneteenth) प्रतिवर्ष 19 जून को मनाया जाता है।
जूनेटीन्थ (Juneteenth)
परिचय: यह संयुक्त राष्ट्र अमेरिका में दास प्रथा के अंत का सबसे पुराना राष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त उत्सव है, जिसे मुक्ति दिवस (Emancipation Day) या जूनेटीन्थ स्वतंत्रता दिवस भी कहा जाता है।
मुक्ति उद्घोषणा (Emancipation Proclamation): 1 जनवरी, 1863 को राष्ट्रपति अब्राहम लिंकन ने मुक्ति उद्घोषणा जारी की, जिसमें कहा गया कि विद्रोही राज्यों में ‘दास के रूप में रखे गए सभी व्यक्ति हमेशा के लिए स्वतंत्र हैं और रहेंगे।’
थाईलैंड समलैंगिक विवाह को वैध करने वाला तीसरा एशियाई देश बनेगा
हाल ही में विवाह समानता विधेयक को थाईलैंड की राष्ट्रीय सभा के ऊपरी सदन सीनेट द्वारा भारी बहुमत से मंजूरी दे दी गई।
विधेयक का विवरण
लैंगिक तटस्थता (Gender Neutrality): यह विधेयक थाई विवाह कानूनों को अद्यतन करता है, जिसमें लिंग-विशिष्ट शब्दों जैसे ‘पति’ और ‘पत्नी’ के स्थान पर लैंगिक-तटस्थ शब्द जैसे ‘जीवनसाथी’ और ‘व्यक्ति’ को प्रतिस्थापित किया गया है।
यह संशोधन किन्ही भी दो व्यक्तियों को, चाहे उनका लिंग कुछ भी हो, विवाह करने का अधिकार देता है।
समलैंगिक जोड़ों के अधिकार: समलैंगिक जोड़ों को कई कानूनी और व्यावहारिक क्षेत्रों में समान अधिकार प्राप्त होंगे:-
दत्तक ग्रहण: समलैंगिक दंपतियों को बच्चों को गोद लेने का अधिकार है।
उत्तराधिकार: वे अपने जीवनसाथी से संपत्ति प्राप्त कर सकते हैं।
कराधान: विषमलैंगिक विवाहित दंपतियों के समान कर लाभ।
कानूनी निर्णय लेना: वे अपने जीवनसाथी के लिए कानूनी निर्णय ले सकते हैं, जैसे– चिकित्सा उपचार सहमति।
मान्यता: यह विधेयक समलैंगिक विवाहों को कानूनी मान्यता और संरक्षण की गारंटी देता है, तथा थाईलैंड में LGBTQ+ जोड़ों को स्थिरता और वैधता प्रदान करता है।
विश्व शरणार्थी दिवस 2024
(World Refugee Day 2024)
विश्व शरणार्थी दिवस (World Refugee Day 2024) प्रतिवर्ष 20 जून को विश्व स्तर पर मनाया जाता है।
विश्व शरणार्थी दिवस
इतिहास: विश्व शरणार्थी दिवस की शुरुआत क्षेत्रीय फोकस के साथ हुई। वर्ष 1951 में संयुक्त राष्ट्र द्वारा शरणार्थियों के अधिकारों को परिभाषित करने के बाद, अफ्रीका ने वर्ष 1970 में उन्हें सम्मानित करने के लिए एक दिन सुनिश्चित किया।
योगदान को मान्यता: बाद में, विश्वव्यापी शरणार्थी संकट को स्वीकार करते हुए, संयुक्त राष्ट्र महासभा ने वर्ष 2000 में एक वैश्विक दृष्टिकोण अपनाया और 20 जून को विश्व शरणार्थी दिवस के रूप में घोषित किया।
थीम: विश्व शरणार्थी दिवस 2024 का आधिकारिक विषय ‘सभी का स्वागत है।’ (Everyone is Welcome)
शरणार्थी
परिभाषा: शरणार्थी वह व्यक्ति है, जो जाति, धर्म, राष्ट्रीयता, किसी विशेष सामाजिक समूह की सदस्यता या राजनीतिक राय के आधार पर उत्पीड़न के भय के कारण अपने राष्ट्रीयता अथवा निवास के लिए देश से बाहर रहता है।
वे उत्पीड़न के भय से अपने देश लौटने में असमर्थ या अनिच्छुक हैं तथा संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी सम्मेलन और उसके प्रोटोकॉल के तहत अंतरराष्ट्रीय संरक्षण के हकदार हैं।
शरण चाहने वाला (Asylum-Seeker): शरण चाहने वाला वह व्यक्ति है, जो शरणार्थी होने का दावा करता है, लेकिन जिसकी शरणार्थी स्थिति का मूल्यांकन अभी तक नहीं किया गया है।
यदि मूल्यांकन के बाद उनका दावा सही पाया जाता है तो उन्हें शरणार्थी के रूप में मान्यता दी जाती है।
कंटेनर पोर्ट प्रदर्शन सूचकांक (Container Port Performance Index)
हाल ही में अडानी पोर्ट्स के 4 बंदरगाह विश्व बैंक के वैश्विक ‘कंटेनर पोर्ट प्रदर्शन सूचकांक’ (Container Port Performance Index) में शामिल हुए।
कंटेनर पोर्ट प्रदर्शन सूचकांक
परिचय: यह जहाजों के बंदरगाह पर ठहरने की अवधि के आधार पर उनके प्रदर्शन का आकलन करने की विधि है।
विकसित: इस सूचकांक को विश्व बैंक और S&P ग्लोबल मार्केट इंटेलिजेंस द्वारा विकसित किया गया है।
महत्त्व: बंदरगाहों और टर्मिनलों को बेहतर बनाने के तरीके खोजने में मदद करता है, जिससे इसमें शामिल सभी लोगों को लाभ मिलता है।
शीर्ष कंटेनर बंदरगाह: चीन का यांगशान बंदरगाह (Yangshan Port)
भारतीय बंदरगाह: मुंद्रा बंदरगाह 27वें स्थान पर, कट्टुपल्ली 57वें, हजीरा 68वें तथा कृष्णापट्टनम् बंदरगाह 71वें स्थान पर रहा।
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