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पोलावरम परियोजना

Lokesh Pal December 17, 2024 05:15 36 0

संदर्भ

बीजू जनता दल (Biju Janata Dal- BJD) ने पोलावरम परियोजना के प्रति अपना विरोध तेज कर दिया है और ओडिशा के मलकानगिरी जिले में आदिवासी समुदायों पर इसके संभावित प्रतिकूल प्रभावों को उजागर किया है।

पोलावरम परियोजना

  • पोलावरम सिंचाई परियोजना गोदावरी नदी पर निर्मित की जा रही है।
    • इसे वर्ष 2014 में केंद्र सरकार द्वारा राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा दिया गया है। 
  • इसे गोदावरी जल विवाद न्यायाधिकरण (Godavari Water Disputes Tribunal – GWDT) की अनुशंसाओं के हिस्से के रूप में तैयार किया गया था और आंध्र प्रदेश राज्य पुनर्गठन अधिनियम, 2014 के अंतर्गत इसे राष्ट्रीय परियोजना घोषित किया गया था। 
  • शुरुआत में आंध्र प्रदेश, मध्य प्रदेश और ओडिशा के बीच एक अंतर-राज्यीय समझौते (1980) में इस पर सहमति बनी थी, इस परियोजना का क्रियान्वयन आंध्र प्रदेश द्वारा किया जा रहा है। 
    • यह जलाशय तेलंगाना, ओडिशा और छत्तीसगढ़ तक विस्तृत है।
  • केंद्र सरकार ने वर्ष 2024 के बजट में इसके पूर्ण होने के लिए ₹15,000 करोड़ आवंटित किए हैं।
  • उद्देश्य: सिंचाई लाभ प्रदान करना, जलविद्युत उत्पन्न करना और जल वितरण के लिए नदियों को आपस में जोड़ने में सहायता करना।
  • कोंडा रेड्डी और कोया जनजातियों का विस्थापन: गोदावरी क्षेत्र में कोंडा रेड्डी (विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह) और कोया जनजातियाँ पोलावरम परियोजना के कारण विस्थापित हो गई हैं, अब वे अपनी आजीविका से वंचित हैं।

भारत में किसी सिंचाई परियोजना को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने के मानदंड

  • अंतरराष्ट्रीय परियोजनाएँ: संधियों द्वारा निर्धारित जल उपयोग या राष्ट्रीय हित के लिए महत्त्वपूर्ण।
  • अंतर-राज्यीय परियोजनाएँ: लागत साझाकरण, पुनर्वास या बिजली उत्पादन जैसे अनसुलझे मुद्दों के कारण देरी का सामना करना पड़ रहा है, जिसमें नदी को जोड़ने वाली परियोजनाएँ भी शामिल हैं।
  • अंतर-राज्यीय परियोजनाएँ
    • 2 लाख हेक्टेयर से अधिक नई सिंचाई क्षमता का सृजन।
    • जल बँटवारे पर कोई विवाद नहीं।
    • जल विज्ञान की स्थापना।
  • विस्तार, नवीनीकरण और आधुनिकीकरण (Extension, Renovation & Modernization- ERM) परियोजनाएँ: कम-से-कम 2 लाख हेक्टेयर की सिंचाई क्षमता का विस्तार/पुनर्स्थापना का लक्ष्य।

महत्त्वपूर्ण नोट: इन मानदंडों को पूरा करने से स्वचालित रूप से राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा प्राप्त नहीं हो जाता। इसके लिए निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार जल संसाधन विभाग, नदी विकास और गंगा संरक्षण मंत्रालय की सिंचाई, बाढ़ नियंत्रण और बहुउद्देशीय परियोजनाओं पर सलाहकार समिति की मंजूरी, निवेश मंजूरी, उच्चाधिकार प्राप्त संचालन समिति की अनुशंसाएँ, धन की उपलब्धता और उस समय सरकार की प्राथमिकताएँ आदि की भी आवश्यकता होती है।

कोंडा रेड्डी 

  • भौगोलिक वितरण: कोंडा रेड्डी जनजाति आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, तमिलनाडु और ओडिशा राज्यों में पाई जाती है।
    • इसे विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह (Particularly Vulnerable Tribal Group- PVTG) के रूप में वर्गीकृत किया गया है और यह मुख्य रूप से आंध्र प्रदेश में गोदावरी नदी के तट पर निवास करती है।
  • भाषा: कोंडा रेड्डी अपने समुदाय के लिए विशिष्ट उच्चारण के साथ तेलुगु भाषा बोलते हैं।
  • धर्म: उनकी धार्मिक मान्यताएँ हिंदू धर्म से जुड़ी हैं, जिसकी विशेषता स्थानीय परंपराएँ और समुदाय-स्तर के देवताओं की पूजा है।
  • पारिवारिक संरचना: जनजाति पितृसत्तात्मक और पितृस्थानीय परिवार प्रणाली का पालन करती है, जहाँ परिवार की वंशावली और पुरुष सदस्यों के आस-पास केंद्रित होते हैं।
  • आवास: कोंडा रेड्डी ने अपने घरों के लिए एक अद्वितीय गोलाकार वास्तुकला विकसित की है।
    • गोलाकार मृदा की दीवारों और फूस की छतों से बने ये घर गुजरात के कच्छ क्षेत्र की भुंगा वास्तुकला से मिलते-जुलते हैं।

कोया जनजाति 

  • भौगोलिक वितरण: कोया जनजाति एक बहुनस्लीय और बहुभाषी समुदाय है, जो गोदावरी नदी के दोनों किनारों पर जंगलों, मैदानों और घाटियों में पाया जाता है।
    • वे मुख्य रूप से आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और ओडिशा में रहते हैं।
  • भाषा: कोया लोग कोया भाषा बोलते हैं, जिसे कोयी के नाम से भी जाना जाता है, जो द्रविड़ भाषा परिवार का हिस्सा है।
    • यह गोंडी से बहुत मिलती-जुलती है और इसमें तेलुगु का महत्त्वपूर्ण प्रभाव है।
  • त्योहार: कोया जनजाति सम्मक्का सरलम्मा जात्रा मनाती है, जो हर दो वर्ष में एक बार माघ मासम (जनवरी या फरवरी) की पूर्णिमा के दिन आयोजित की जाती है।
    • यह त्योहार वारंगल जिले के मुलुग तालुक के मेदारम गाँव में मनाया जाता है।
  • सामाजिक संरचना: प्रत्येक कोया व्यक्ति पाँच उप-विभाजनों में से एक से संबंधित होता है, जिन्हें गोत्रम के रूप में जाना जाता है।
    • कोया व्यक्ति एक कबीले में पैदा होता है और वह जीवन भर उसके साथ जुड़ा रहता है।

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