100% तक छात्रवृत्ति जीतें

रजिस्टर करें

वर्तमान में बुद्ध की शिक्षाओं की प्रासंगिकता (Relevance of Buddha’s teachings in present day)

Samsul Ansari January 22, 2024 05:34 873 0

संदर्भ

हाल ही में भारत के उपराष्ट्रपति द्वारा नई दिल्ली में शांति के लिए एशियाई बौद्ध सम्मेलन (ABCP) की 12वीं महासभा का उद्घाटन किया गया।

  • उपराष्ट्रपति ने कहा कि बौद्ध धर्म भारत में पैदा हुआ और दुनिया के विभिन्न हिस्सों में फैल गया, इसने एक संदेश दिया, जो समकालीन समय में सभी के लिए प्रासंगिक है।

शांति के लिए एशियाई बौद्ध सम्मेलन (Asian Buddhist Conference for Peace- ABCP)

  • स्थापना: इसकी स्थापना वर्ष 1970 में मंगोलिया के उलानबटार (Ulaanbaatar) में बौद्ध धर्म के अनुयायियों के एक स्वैच्छिक आंदोलन के रूप में की गई थी, जिसमें मठवासी (भिक्षु) और आम सदस्य दोनों शामिल थे।
  • उद्देश्य: बौद्ध संस्कृति, परंपरा और विरासत का प्रचार-प्रसार करना।
  • मुख्यालय: मंगोलिया के उलानबटार में गंडानथेगचेनलिंग मठ (Gandang Thegchen Ling Monastery)।
  • इस सम्मलेन की थीम: शांति के लिए एशियाई बौद्ध सम्मेलन-द बुद्धिस्ट वाॅयस ऑफ ग्लोबल साउथ। 
  • सदस्य: मंगोलिया, उत्तर कोरिया, दक्षिण कोरिया, बांग्लादेश, नेपाल, भारत, भारत के धर्मशाला में केंद्रीय तिब्बती प्रशासन, श्रीलंका, वियतनाम, लाओस, कंबोडिया, जापान और रूस।

भारत: बौद्ध धर्म की भूमि

  • बौद्ध धर्म की उत्पत्ति: भारत को ‘बुद्ध की भूमि’ के रूप में जाना जाता है क्योंकि गौतम बुद्ध ने लगभग 2,500 वर्ष पहले इस क्षेत्र में बौद्ध धर्म की स्थापना की थी। भारत भगवान बुद्ध की मातृभूमि के रूप में खड़ा है, एक ऐसा राष्ट्र जिसने दुनिया को ‘युद्ध’ के बजाय ‘बुद्ध‘ दिया है।
  • बौद्ध संरचनाएँ: प्राचीन भारत में मौर्य राजाओं, गुप्त शासकों और सातवाहन शासकों के शासनकाल के दौरान कई बौद्ध स्तूप, विहार, चैत्य, स्तंभ और शिलालेख बनाए गए हैं।
    • स्तूप अवशेषों और विभिन्न धार्मिक वस्तुओं को संरक्षित किया गया है।
    • प्रमुख शिलालेखों और प्रमुख स्तंभ शिलालेखों में ‘धर्म’ की सामान्य अवधारणा के अंतर्गत उचित व्यवहार और अहिंसा की शिक्षाओं का उल्लेख किया गया है।
  • बौद्ध जनसंख्या: लगभग 500 मिलियन की वैश्विक आबादी के साथ, बौद्ध धर्म दुनिया का चौथा सबसे बड़ा धर्म है।
    • अधिकांश बौद्ध आबादी चीन (50%), थाईलैंड (13%), जापान (9%), म्याँमार (8%), श्रीलंका (3%), वियतनाम (3%), कंबोडिया (3%), कोरिया (2%), भारत (2%) और मलेशिया (1%) में रहते हैं। 
  • बुद्ध की शिक्षाएँ: यह भारत के सेवा-संचालित शासन के लिए प्रेरणा के रूप में कार्य करता है, जो किसानों से लेकर कमजोर वर्गों और विकलांगों तक नागरिक कल्याण तथा समावेशिता पर जोर देता है।
    • यह प्रतिबद्धता पर्यावरणीय स्थिरता तक फैली हुई है, जो एक हरित भविष्य को संबोधित करता है।
    • गौरतलब है कि दुनिया उन चुनौतियों का सामना कर रही है, जो सार्वभौमिक हैं तथा जलवायु परिवर्तन, संघर्ष, आतंकवाद या गरीबी जैसे मुद्दों पर ठोस प्रयासों की आवश्यकता है।

उभरते समसामयिक मुद्दे

  • बढ़ते वैश्विक संघर्ष: उल्लेखनीय घटनाओं में ईरान और पाकिस्तान के बीच हालिया तनाव, इजरायल-फिलिस्तीन मुद्दा और रूस एवं यूक्रेन के बीच तनाव शामिल हैं। नागरिकों एवं सैनिकों की सुरक्षा संबंधी चिंताओं के साथ सैन्य कार्रवाइयों को संतुलित करने पर चिंताएँ पैदा होती हैं। उदाहरण के लिए फिलिस्तीन के लोगों को मानवीय सहायता सुनिश्चित करते हुए हमास से मुकाबला करने की चुनौती से यह दुविधा देखी जा सकती है।
  • जलवायु परिवर्तन चुनौतियाँ: जलवायु परिवर्तन को ‘परफैक्ट मोरल स्टॉर्म’ के रूप में वर्णित किया गया है क्योंकि यह नैतिक कार्रवाई के लिए तीन प्रमुख चुनौतियों को एक साथ संबोधित करता है:
    • जलवायु परिवर्तन (कम-से-कम अल्प से मध्यम अवधि में)।
    • वर्तमान उत्सर्जन का गहरा अंतर-पीढ़ीगत प्रभाव।
    • कई क्षेत्रों में सैद्धांतिक उपकरण अविकसित हैं जैसे अंतरराष्ट्रीय न्याय, अंतर-पीढ़ीगत नैतिकता, वैज्ञानिक अनिश्चितता और मनुष्यों एवं प्रकृति के बीच उचित संबंध।
  • आतंकवादी गतिविधियाँ: बढ़ती वैश्विक अव्यवस्था के बीच, दुनिया भर में आतंकी हमलों में वृद्धि हुई है। उदाहरण के लिए, हाल ही में अमेरिका ने लाल सागर में हमलों में वृद्धि के बाद हूतियों को आतंकवादी घोषित किया है।
  • बढ़ती गरीबी और असमानता: बढ़ती गरीबी एवं असमानता से नैतिक चिंताएँ उत्पन्न होती हैं जो मानवीय गरिमा, मानवाधिकारों और वितरणात्मक न्याय के बुनियादी दावों के विरुद्ध हैं।
    • ऑक्सफैम रिपोर्ट के निष्कर्षों से पता चलता है कि अत्यधिक धन और अत्यधिक गरीबी एक साथ तेजी से बढ़ी है। वर्ष 2022 में, लगभग 670 मिलियन लोगों के अत्यधिक गरीबी में रहने का अनुमान लगाया गया था तथा वर्ष 2020 के बाद से, सबसे अमीर 1% ने सभी नई संपत्ति के लगभग दो-तिहाई हिस्से पर कब्जा कर लिया है।
  • विश्व के युवाओं द्वारा सामना की जाने वाली चुनौतियाँ: EY’s के 2023 जेन-Z सेगमेंटेशन (Gen-Z Segmentation) अध्ययन के अनुसार, नौकरियों, दीर्घकालिक वित्तीय स्थिरता और वर्तमान अर्थव्यवस्था एवं रोजगार बाजार के बारे में पर्याप्त चिंता एवं तनाव इस पीढ़ी के लिए अनिश्चितता के प्राथमिक स्रोत हैं।

समकालीन विश्व में बुद्ध की शिक्षाओं की प्रासंगिकता

  • चार आर्य सत्यों और आष्टांगिक मार्ग के माध्यम से व्यक्तिगत और वैश्विक संघर्षों पर नियंत्रण पाना: बुद्ध की शिक्षाएँ वर्तमान संघर्षों से जूझ रहे व्यक्तियों और राष्ट्रों के लिए एक परिवर्तनकारी रोडमैप प्रदान कर सकती हैं।
    • अंतरराष्ट्रीय समुदाय को नैतिक मानकों को बनाए रखने के लिए प्रेरित किया जाता है, एक ऐसी दुनिया को बढ़ावा दिया जा सकता है, जहाँ हिंसा का सहारा लेने के बजाय संवाद के माध्यम से संघर्षों का समाधान किया जाता है।
  • धर्म और सद्भाव के माध्यम से आतंकवाद पर विजय: ‘जो लोग हाथों में हथियार लेकर लड़ते हैं उन्हें फूल दिए जाने चाहिए।’ धर्म एक सिद्धांत है, सार्वभौमिक सत्य है, जो हर समय सभी व्यक्तियों के लिए समान है तथा बौद्ध स्तूप, मंत्र और त्योहार विश्व में नफरत और हिंसा की ताकतों के विपरीत बुद्ध के संदेश के प्रतीक के रूप में गूँजते हैं।

    • बुद्ध की शिक्षाएँ हिंसा और घृणा की अटूट अस्वीकृति के रूप में कार्य करती हैं, करुणा और शांति के साथ आतंकवाद का मुकाबला करने के लिए एक रूपरेखा प्रदान करती हैं।
  • अस्तित्व संबंधी चुनौतियों का समाधान: बुद्ध के सिद्धांत आशा की किरण के रूप में काम करते हैं, एक साझा मंच पर हितधारकों के बीच अभिसरण को बढ़ावा देते हैं।
    • बुद्ध के सिद्धांतों को लागू करने से, राष्ट्रों को वर्तमान और भविष्य की पीढ़ियों के लिए पर्यावरण की रक्षा करने वाली नैतिक प्रथाओं को अपनाने, सहयोगात्मक रूप से काम करने के लिए प्रोत्साहित किया जा सकता है।
    • ABCP की 12वीं आम सभा में, नेता ने दिल्ली घोषणा को परिभाषित करते हुए दुनिया भर के नेताओं और देशों से युद्ध समाप्त करने का आह्वान किया, जो इस घटना का सबसे बड़ा निष्कर्ष था।
  • साझा विरासत और कल्याण के माध्यम से जलवायु परिवर्तन से निपटना: आस्था, संस्कृति और प्रेम से जुड़ी साझा विरासत एक अटूट बंधन बनाती है। विभाजित दुनिया में, बुद्ध का ज्ञान सहिष्णुता, न्याय और शांति के लिए साझी प्रतिबद्धता का पालन करने का आग्रह करता है, एक ऐसे भविष्य को बढ़ावा देता है जहाँ सभी सद्भाव से रहते हैं।
  • गरीबी और असमानता से निपटना: भगवान बुद्ध ने हमें सिखाया, ‘भवतु सब्ब मंगलम’, जिसका अर्थ है आशीर्वाद, करुणा और सभी का कल्याण। दुख निवारण पर केंद्रित बुद्ध की शिक्षाएँ संसाधनों के न्यायसंगत वितरण को बढ़ावा देने और वितरणात्मक न्याय की दिशा में काम करने के प्रयासों को प्रेरित करती हैं।

    • सामाजिक न्याय और समावेशिता की दिशा में प्रयास बुद्ध की शिक्षाओं के अनुरूप नैतिक अनिवार्यता बन जाते हैं, जिससे नैतिक रूप से अधिक न्यायपूर्ण दुनिया का निर्माण होता है।
  • नैतिक अनिश्चितता से निपटना: बुद्ध की शिक्षाएँ सभी जीवन के लिए सादगी, संयम तथा श्रद्धा पर आधारित एक स्थायी मार्ग प्रदान करती हैं।
  • भविष्य के लिए दिशा सूचक यंत्र के रूप में मध्य मार्ग: बुद्ध की शिक्षाएँ अतीत के अवशेष नहीं बल्कि हमारे भविष्य के लिए दिशा-निर्देश हैं। तेजी से बदलते परिदृश्य में, उनका मध्यम मार्ग (मित्रता, संयम और सभी जीवन के प्रति श्रद्धा पर जोर देता है) मानवता और पृथ्वी दोनों के लिए एक स्थायी पाठ्यक्रम प्रस्तुत करता है।
  • तनाव से निपटना: बौद्ध शिक्षाएँ मन को शांत करके, ध्यान के माध्यम से नकारात्मक भावनाओं को नियंत्रित करके, और अंतर्दृष्टि ध्यान के माध्यम से तनाव तथा पीड़ाओं से मुक्त होने के लिए मन को शुद्ध करने के लिए ज्ञान और अंतर्दृष्टि विकसित करके तनाव से निपटने के उपयोगी तरीके प्रस्तुत करती हैं।
    • बौद्ध शिक्षाएँ विभिन्न समस्याओं से निपटने के लिए श्वास ध्यान (अन्नपनासति) जैसे व्यावहारिक तरीके प्रदान करती हैं।

Final Result – CIVIL SERVICES EXAMINATION, 2023. PWOnlyIAS is NOW at three new locations Mukherjee Nagar ,Lucknow and Patna , Explore all centers Download UPSC Mains 2023 Question Papers PDF Free Initiative links -1) Download Prahaar 3.0 for Mains Current Affairs PDF both in English and Hindi 2) Daily Main Answer Writing , 3) Daily Current Affairs , Editorial Analysis and quiz , 4) PDF Downloads UPSC Prelims 2023 Trend Analysis cut-off and answer key

THE MOST
LEARNING PLATFORM

Learn From India's Best Faculty

      

Final Result – CIVIL SERVICES EXAMINATION, 2023. PWOnlyIAS is NOW at three new locations Mukherjee Nagar ,Lucknow and Patna , Explore all centers Download UPSC Mains 2023 Question Papers PDF Free Initiative links -1) Download Prahaar 3.0 for Mains Current Affairs PDF both in English and Hindi 2) Daily Main Answer Writing , 3) Daily Current Affairs , Editorial Analysis and quiz , 4) PDF Downloads UPSC Prelims 2023 Trend Analysis cut-off and answer key

<div class="new-fform">







    </div>

    Subscribe our Newsletter
    Sign up now for our exclusive newsletter and be the first to know about our latest Initiatives, Quality Content, and much more.
    *Promise! We won't spam you.
    Yes! I want to Subscribe.