संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सिविल सेवा प्रारम्भिक तथा मुख्य परीक्षा कट ऑफ:
सामान्य रुझान और श्रेणी-वार विश्लेषण
सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा से लेकर मुख्य परीक्षा और साक्षात्कार तक की प्रक्रिया का परीक्षण:
- सामान्य रुझान, विश्लेषण और प्रमुख बिंदु: इस लेख में हम सिविल सेवा परीक्षा की रणनीतिक तैयारी के तहत इस परीक्षा के कट-ऑफ को प्रभावित करने वाले कारकों को समझने का प्रयास करेंगे।
- सिविल सेवा प्रारम्भिक परीक्षा कट ऑफ: सिविल सेवा परीक्षा में सफलता के लिए सर्वोत्तम मार्गदर्शक।
- संघ लोक सेवा आयोग प्रत्येक वर्ष अखिल भारतीय सेवाओं और भारत सरकार की विभिन्न ग्रुप-A सेवाओं के लिए सिविल सेवा परीक्षा आयोजित करता है। इन सेवाओं में मुख्य रूप से प्रशासनिक भूमिकाएँ शामिल होती हैं।
- इन सेवाओं में प्रवेश करने का लक्ष्य रखने वाले उम्मीदवारों को प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य परीक्षा और साक्षात्कार के रूप में लगभग वर्ष भर चलने वाली परीक्षाओं को सफलतापूर्वक उत्तीर्ण करना होता है।
- इन सेवाओं में स्थान सुनिश्चित करने के लिए, पिछले वर्ष के सिविल सेवा प्रारम्भिक परीक्षा कट ऑफ अंक निर्णायक कारक के रूप में कार्य करते हैं, जो उम्मीदवारों को परीक्षा के लिये एक प्रभावी रणनीति तैयार करने और मार्गदर्शन करने में सहायक होते हैं।
- इस लेख में हम प्रारंभिक और मुख्य दोनों परीक्षाओं के कटऑफ अंकों का परीक्षण और विश्लेषण करेंगे। इस विश्लेषण का उद्देश्य आने वाले समय में उम्मीदवारों को परीक्षा में सफलता प्राप्त करने में सहायता करना है।
सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा कट ऑफ का महत्व
सिविल सेवा की तैयारी की प्रक्रिया में प्रारंभिक परीक्षा की कट ऑफ एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। यह उम्मीदवारों को उपयुक्त निर्णय लेने, उनकी तैयारी को अनुकूलित करने और देश में सबसे अधिक प्रतिस्पर्द्धी परीक्षाओं में से एक सिविल सेवा में सफलता की संभावनाओं को बढ़ाने के लिए आवश्यक ज्ञान से परिचय कराती है।
- तैयारी की प्रभावी योजना: परीक्षा के विभिन्न चरणों के पिछले वर्ष के कट ऑफ को ध्यान में रखते हुए उम्मीदवारों को अपनी तैयारी की योजना बनाने और विषय की प्राथमिकता के अनुसार समय आवंटित करने में मदद मिलती है।
- कट-ऑफ विश्लेषण उम्मीदवारों को उन क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करते हुए यथार्थवादी लक्ष्य और मानक निर्धारित करने की अनुमति देता है, जो मुख्य रूप से परीक्षा में अधिक महत्व रखते हैं।
- प्रतिस्पर्द्धा की समझ: सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा कट ऑफ अंकों के सामान्य रुझान का विश्लेषण और समझ उम्मीदवारों को प्रतिस्पर्द्धा के स्तर को समझने में मदद करता है।
- कमजोर पक्ष की पहचान: विषय-वार और समग्र कटऑफ को समझकर, उम्मीदवार तैयारी के दौरान अपने कमजोर पक्षों की पहचान कर उनपर अधिक ध्यान केंद्रित कर सकते हैं। यह अंतर्दृष्टि तैयारी के लिए एक लक्षित दृष्टिकोण को सक्षम बनाती है।
- परिवर्तनों के अनुसार अनुकूलन: प्रश्नपत्र की कठिनाई और सेवाओं में रिक्तियों की संख्या जैसे कारकों के आधार पर प्रारंभिक परीक्षा की कट ऑफ वर्ष-दर-वर्ष भिन्न हो सकती है। इन विविधताओं का विश्लेषण करने से उम्मीदवारों को परीक्षा की बदलती प्रकृति के अनुरूप अपनी तैयारी से संबंधित रणनीतियों को अनुकूलित करने में मदद मिलती है।
- समय और संसाधनों का उपयोग: कट ऑफ के सामान्य रुझान उम्मीदवारों को उन विषयों को प्राथमिकता देने और पेपर के उन अनुभागों का चयन करने में मदद करते हैं, जिनका समग्र स्कोर पर अधिक प्रभाव पड़ता है। सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा की सीमित समय-सीमा में समय और संसाधनों का अनुकूलन महत्वपूर्ण है।
- परीक्षा की मनोवैज्ञानिक तैयारी: पिछले कट-ऑफ अंकों की स्पष्ट समझ उम्मीदवारों को सफलता के लिए अपेक्षित विषय विशेज्ञता का यथार्थवादी आकलन प्रदान करती है। यह आकलन उम्मीदवारों की मनोवैज्ञानिक तैयारी पर सकारात्मक प्रभाव डालेगा, परीक्षा संबंधी दुविधाओं को कम करेगा और उनमें आत्मविश्वास पैदा करेगा।
- मुख्य परीक्षा और साक्षात्कार की तैयारी: सिविल सेवा परीक्षा के विभिन्न चरणों में अलग-अलग कट ऑफ होते हैं। प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य परीक्षा और व्यक्तित्व परीक्षण (साक्षात्कार) के लिए कट ऑफ रुझानों का व्यक्तिगत रूप से विश्लेषण करने से प्रत्येक चरण के लिए प्रभावी ढंग से समय और प्रयास संबंधी योजना बनाने में सहायता मिलती है।
- सामान रुझानों और पैटर्न को समझना: कई वर्षों में कट ऑफ का विश्लेषण करने से रुझानों और पैटर्न की पहचान करने में मदद मिलती है। यह समझ परीक्षा पैटर्न या उन क्षेत्रों में संभावित बदलावों का आकलन करने में अधिक महत्त्वपूर्ण है जिन पर संघ लोक सेवा आयोग हाल के वर्षों में अधिक जोर दे रहा है।
- वैकल्पिक विषयों के संबंध में निर्णय लेना: वैकल्पिक विषयों का चयन समग्र स्कोर पर महत्त्वपूर्ण प्रभाव डाल सकता है। कटऑफ विश्लेषण उन विषयों में उम्मीदवारों के पिछले प्रदर्शन पर विचार करते हुए अपने लिये उपयुक्त वैकल्पिक विषय के चयन के संदर्भ में निर्णय लेने में भी सहायता करता है।
सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा कटऑफ: कटऑफ के सामान्य रुझानों का विश्लेषण
- जिन उम्मीदवारों ने सिविल सेवा की प्रारंभिक परीक्षा पास करने के लिये आवश्यक कट ऑफ सीमा को पार कर लिया है, उन्हें मुख्य परीक्षा के लिये शॉर्टलिस्ट किया जाता है। कटऑफ अंक भी संघ लोक सेवा आयोग की चयन प्रक्रिया के अनुसार जारी किए जाते हैं। प्रारंभिक परीक्षा की कटऑफ के बाद, मुख्य परीक्षा की कटऑफ जारी की जाती है, और फिर अंतिम रूप से कटऑफ जारी की जाती है।
- सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा का कट ऑफ सामान्य अध्ययन प्रश्नपत्र-1 में अर्जित अंकों पर आधारित होती है, क्योंकि प्रारंभिक परिक्षा में सीसैट या सामान्य अध्ययन प्रश्नपत्र-2 केवल क्वालीफाइंग प्रकृति का है। सीसैट या सामान्य अध्ययन प्रश्नपत्र 2 के लिए क्वालीफाइंग मार्क्स कम से कम 33% हैं। संघ लोक सेवा आयोग संबंधित वर्ष विशेष के लिए सिविल सेवा परीक्षा का अंतिम परिणाम घोषित होने के बाद ही प्रारम्भिक और मुख्य परीक्षा दोनों के लिए कट ऑफ जारी करता है।
वर्ष 2022 का सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा कट ऑफ
प्रारंभिक परीक्षा के लिए संघ लोक सेवा आयोग द्वारा जारी की गई वर्ष 2022 की कट ऑफ सूची-
यूपीएससी प्रिलिम्स कट ऑफ की श्रेणी | यूपीएससी प्रारंभिक परीक्षा कट ऑफ मार्क्स 2022 |
सामान्य | 88.22 |
अनुसूचित जाति (SC) | 74.08 |
अनुसूचित जनजाति (ST) | 69.35 |
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) | 87.54 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 1 (PwD 1) | 49.84 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 2 (PwD 2) | 58.59 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 3 (PwD 3) | 40.4 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 5 (PwD 5) | 41.76 |
आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) | 82.83 |
यूपीएससी प्रीलिम्स कट ऑफ: 5-वर्षीय रुझान (2022-2018)
यूपीएससी प्रिलिम्स कट ऑफ की श्रेणी | 2022 | 2021 | 2020 | 2019 | 2018 |
सामान्य | 88.22 | 87.54 | 92.51 | 98 | 98 |
अनुसूचित जाति (SC) | 74.08 | 75.41 | 74.84 | 82 | 84 |
अनुसूचित जनजाति (ST) | 69.35 | 70.71 | 68.71 | 77.34 | 83.34 |
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) | 87.54 | 84.85 | 89.12 | 95.34 | 96.66 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 1 (PwD 1) | 49.84 | 68.02 | 70.06 | 53.34 | 73.34 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 2 (PwD 2) | 58.59 | 67.33 | 63.94 | 44.66 | 53.34 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 3 (PwD 3) | 40.40 | 43.09 | 40.82 | 61.34 | 40 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 5 (PwD 5) | 41.76 | 45.80 | 42.82 | 61.34 | 45.34 |
आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) | 82.83 | 80.14 | 77.55 | 90 | 92.87 |
संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सिविल सेवा मुख्य परीक्षा कट ऑफ 2022: श्रेणी-वार विश्लेषण
सिविल सेवा मुख्य परीक्षा 2022 कट-ऑफ को उत्तीर्ण करने वाले उम्मीदवार साक्षात्कार के लिए पात्र हुए। वर्ष 2022 परीक्षा के परिणामों के अनुसार, मुख्य परीक्षा का कट ऑफ सामान्य वर्ग के लिए 748 अंक है। आइए, सभी श्रेणियों पर विचार करते हुए मुख्य परीक्षा के लिए सिविल सेवा परीक्षा 2022 कटऑफ की समीक्षा करते हैं।
श्रेणी | UPSC Cut Off 2022- Mains |
सामान्य | 748 |
अनुसूचित जाति (SC) | 699 |
अनुसूचित जनजाति (ST) | 706 |
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) | 714 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 1 (PwD 1) | 677 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 2 (PwD 2) | 706 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 3 (PwD 3) | 351 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 5 (PwD 5) | 419 |
आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) | 715 |
यूपीएससी मेन्स कट ऑफ: 5-वर्षीय रुझान (2018-2022)
Category | 2022 | 2021 | 2020 | 2019 | 2018 |
सामान्य | 748 | 745 | 736 | 751 | 774 |
अनुसूचित जाति (SC) | 714 | 707 | 698 | 718 | 732 |
अनुसूचित जनजाति (ST) | 706 | 700 | 682 | 699 | 719 |
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) | 699 | 700 | 680 | 706 | 719 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 1 (PwD 1) | 677 | 688 | 648 | 663 | 711 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 2 (PwD 2) | 706 | 712 | 699 | 698 | 696 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 3 (PwD 3) | 351 | 388 | 425 | 374 | 520 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 5 (PwD 5) | 419 | 560 | 300 | 561 | 460 |
आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) | 715 | 713 | 687 | 696 | 736 |
सिविल सेवा परीक्षा की अंतिम कट ऑफ: योग्यता के आधार पर चयन
सिविल सेवा परीक्षा की अंतिम कट ऑफ मुख्य परीक्षा और व्यक्तित्व परीक्षण (साक्षात्कार) चरण में उम्मीदवारों द्वारा प्राप्त अंकों को मिलाकर निर्धारित किया जाता है। मुख्य परीक्षा के अंकों का मूल्यांकन मुख्य परीक्षा में होने वाले सात प्रश्नपत्रों (भाषा संबंधी प्रश्नपत्रों को छोड़कर) में उम्मीदवारों द्वारा प्राप्त अंकों के आधार पर किया जाता है, जबकि शेष साक्षात्कार चरण का योगदान होता है। प्रत्येक उम्मीदवार के प्रदर्शन का मूल्यांकन किया जाता है, और अंतिम कट-ऑफ की गणना उनके संयुक्त अंकों के आधार पर की जाती है। जो उम्मीदवार सिविल सेवा परीक्षा की अंतिम कट ऑफ अंकों को पास करने में सफल होते हैं, उन्हें उनकी मेरिट रैंकिंग के आधार पर विभिन्न सिविल सेवाओं में नियुक्ति के लिए चुना जाता है। सेवाओं का आवंटन उम्मीदवार की रैंक, वरीयता और रिक्तियों की उपलब्धता के अनुसार किया जाता है।
सिविल सेवा परीक्षा अंतिम कट ऑफ 2022
पिछले 5 वर्षों के लिए यूपीएससी अंतिम कट ऑफ: 5-वर्षीय रुझान
श्रेणी | 2022 | 2021 | 2020 | 2019 | 2018 |
सामान्य | 960 | 953 | 944 | 961 | 982 |
अनुसूचित जाति (SC) | 923 | 910 | 907 | 925 | 938 |
अनुसूचित जनजाति (ST) | 893 | 886 | 875 | 898 | 912 |
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) | 900 | 883 | 876 | 893 | 912 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 1 (PwD 1) | 879 | 892 | 867 | 861 | 899 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 2 (PwD 2) | 913 | 932 | 910 | 890 | 908 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 3 (PwD 3) | 632 | 689 | 675 | 653 | 754 |
विकलांग व्यक्ति श्रेणी 5 (PwD 5) | 590 | 701 | 465 | 708 | 718 |
आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) | 926 | 916 | 894 | 909 | 941 |
सिविल सेवा परीक्षा के विभिन्न चरणों की कट ऑफ अगले चरण के लिए अर्हता प्राप्त करने के लिए उम्मीदवारों के लिए आवश्यक न्यूनतम अंक तय करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। संघ लोक सेवा आयोग द्वारा परीक्षा के प्रत्येक चरण के लिए कट ऑफ निर्धारित करते समय इन कारकों को ध्यान में रखा जाता है, जिसमें प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य परीक्षा और अंतिम यूपीएससी कट ऑफ शामिल हैं।
ऐसे कई कारक हैं जो सिविल सेवा परीक्षा के लिए कट ऑफ को प्रभावित करते हैं:
- परीक्षा का कठिनाई स्तर: यदि प्रश्न पत्र अधिक कठिन और चुनौतीपूर्ण है, तो इससे कटऑफ कम हो सकती है, क्योंकि उम्मीदवारों को उच्च अंक प्राप्त करना मुश्किल हो सकता है। दूसरी ओर यदि पेपर अपेक्षाकृत आसान है और इतना मुश्किल नहीं है, तो कटऑफ बढ़ सकती है क्योंकि अधिक उम्मीदवार अधिक अंक प्राप्त कर सकते हैं।
- रिक्तियों की संख्या: विभिन्न सेवाओं में उपलब्ध रिक्तियां प्रत्यक्ष तौर पर सिविल सेवा परीक्षा के कट ऑफ को प्रभावित करती हैं। उदाहरण के लिए, रिक्तियों की अधिक संख्या के कारण कटऑफ कम हो सकती है, क्योंकि अधिक उम्मीदवारों को उनके प्रदर्शन के आधार पर समायोजित किया जा सकता है।
- आरक्षण मानदंड: संघ लोक सेवा आयोग सामान्य, ओबीसी, एससी, एसटी इत्यादि जैसी विभिन्न श्रेणियों के लिए आरक्षण मानदंड (आधिकारिक अधिसूचना में निर्दिष्ट) का पालन करता है। इन श्रेणियों के लिए कट ऑफ अंक उम्मीदवारों की संख्या और सीटों की संख्या के आधार पर भिन्न हो सकते हैं।
- उम्मीदवार का प्रदर्शन: यदि अधिकांश उम्मीदवार असाधारण रूप से अच्छा प्रदर्शन करते हैं और परीक्षा के प्रत्येक चरण में अच्छे अंक प्राप्त करते हैं तो कट-ऑफ बढ़ सकती है। वहीं, अगर संपूर्ण प्रदर्शन औसत है तो कट ऑफ घट सकती है।
- सामान्यीकरण प्रक्रिया: प्रारंभिक परीक्षा के लिए, कट-ऑफ की गणना करते समय निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए संघ लोक सेवा आयोग एक सामान्यीकरण प्रक्रिया का पालन करता है। यह प्रक्रिया अलग-अलग कठिनाई स्तरों वाले प्रश्न पत्रों के विभिन्न सेटों में उम्मीदवारों के अंकों को समायोजित करती है।
- समग्र प्रतिस्पर्द्धा: प्रतिस्पर्द्धा का स्तर और किसी विशेष वर्ष में भाग लेने वाले उम्मीदवारों की गुणवत्ता भी सिविल सेवा परीक्षा की कट ऑफ को प्रभावित कर सकती है। अधिक प्रतिस्पर्धा के कारण कटऑफ भी अधिक हो सकती है।