हाल ही में स्वीडन के दूतावास में सीस्टेम (SheSTEM) 2024 प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था।
सीस्टेम (SheSTEM) 2024
यह एक वार्षिक पहल है, जो STEM में महिलाओं के योगदान को प्रोत्साहित करती है।
आयोजक: अटल इनोवेशन मिशन (AIM), नीति आयोग तथा विज्ञान एवं नवाचार कार्यालय के तहत नॉर्डिक सहयोगियों अर्थात् इनोवेशन नॉर्वे, इनोवेशन सेंटर डेनमार्क एवं बिजनेस फिनलैंड के साथ साझेदारी में।
उद्देश्य: छात्रों को महत्त्वपूर्ण STEM विषयों से जुड़ने एवं वैश्विक स्थिरता प्रयासों में योगदान करने के लिए एक मंच प्रदान करना।
थीम 2024: सीस्टेम (SheSTEM) 2024 चुनौती ने पूरे भारत में कक्षा 6-12 के छात्रों को बैटरी प्रौद्योगिकी एवं ऊर्जा भंडारण (BEST) प्रणालियों पर केंद्रित नवीन विचारों को प्रस्तुत करने के लिए आमंत्रित किया।
यह भारत-नॉर्डिक BEST परियोजना का हिस्सा है, इस चुनौती का उद्देश्य ऊर्जा समाधानों को आगे बढ़ाकर स्थिरता को बढ़ावा देना है।
नैनो बबल टेक्नोलॉजी
हाल ही में पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने जलीय जीवों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने के लिए राष्ट्रीय प्राणी उद्यान, दिल्ली के पानी की सफाई तथा शुद्धिकरण के लिए ‘नैनो बबल टेक्नोलॉजी’ लॉन्च की।
नैनो बबल प्रौद्योगिकी
नैनो बबल तकनीक पानी की गुणवत्ता में सुधार के लिए छोटे बुलबुले का उपयोग करने की एक विधि है।
नैनोबबल अति सूक्ष्म बुलबुले (व्यास में 200 नैनोमीटर से कम) होते हैं, जो आँखों के लिए लगभग अदृश्य होते हैं।
नैनोबबल विभिन्न तरीकों का उपयोग करके उत्पन्न किए जा सकते हैं, जिनमें केंद्रोपसारक बल, अल्ट्रासाउंड, इलेक्ट्रोलिसिस आदि शामिल हैं।
यह किस प्रकार कार्य करता है
निलंबन एवं स्थिरता: नैनोबबल अपने छोटे आकार एवं उच्च सतह ऊर्जा के कारण स्थिर होते हैं, जिससे वे लंबे समय तक पानी में निलंबित रह सकते हैं।
सतही आवेश: उनके पास एक मजबूत नकारात्मक आवेश होता है, जो शैवाल, कार्बनिक अपशिष्ट, तेल एवं ग्रीस जैसी अशुद्धियों को आकर्षित करता है तथा विखंडित करता है।
ऑक्सीजन संवर्द्धन: नैनोबबल पानी में घुलित ऑक्सीजन के स्तर को बढ़ाते हैं। यह कार्बनिक पदार्थों के विखंडन को बढ़ावा देता है एवं पानी की गुणवत्ता में सुधार करता है।
ऑक्सीडेटिव प्रभाव: अपघटित होने पर, नैनोबबल हाइड्रॉक्सिल रेडिकल उत्पन्न करते हैं, जो शक्तिशाली ऑक्सीकारक एजेंट होते हैं, जो प्रदूषकों को नष्ट करने एवं रोगजनकों को मारने में सक्षम होते हैं।
लाभ
वे शैवाल, जैविक अपशिष्ट, तेल एवं ग्रीस जैसे प्रदूषकों को हटा सकते हैं।
नैनोबबल पारंपरिक तरीकों की तुलना में अधिक ऊर्जा-कुशल हैं एवं रसायन-मुक्त हैं, जो उन्हें पर्यावरण के अनुकूल बनाता हैं।
अन्य अनुप्रयोग
पौधों की वृद्धि: पौधों की जड़ों तक ऑक्सीजन वितरण में सुधार हो सकता है, जिससे पोषक तत्त्वों की मात्रा बढ़ सकती है एवं पौधों की वृद्धि बढ़ सकती है।
दवा वितरण: दवाओं को वितरित करने के लिए उपयोग किया जाता है एवं जैव-संगत सतहों के साथ क्रियाशील होता है।
मेडिकल इमेजिंग: उनके गैस कोर के इकोजेनिक गुणों के कारण इमेजिंग एजेंट के रूप में उपयोग किया जाता है।
अवायवीय पाचन: सल्फाइड एवं वाष्पशील फैटी एसिड के स्तर को कम करके अवायवीय पाचन प्रक्रिया में सुधार संभव है।
कपड़ा उद्योग: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, रोपड़ ने एक एयर नैनो-बबल तकनीक विकसित की है, जो कपड़ा क्षेत्र में पानी के उपयोग को 90% तक कम कर सकती है।
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