100% तक छात्रवृत्ति जीतें

रजिस्टर करें

भारत को विश्व ऊर्जा एजेंसी में शामिल करने का प्रस्ताव

Lokesh Pal February 15, 2024 04:57 108 0

संदर्भ

हाल ही में भारत सरकार को आधिकारिक तौर पर अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (International Energy Agency-IEA) का सदस्य बनने का प्रस्ताव दिया गया है।

अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA) के बारे में

  • अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA) एक स्वतंत्र अंतरसरकारी संगठन है।
  • मुख्यालय: पेरिस।
  • सदस्य: 31 सदस्य देश, 13 सहयोगी देश, 5 पर्यवेक्षक देश।
    • भारत वर्ष 2017 में एक सहयोगी देश के रूप में अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में शामिल हुआ था।
  • इसकी स्थापना वर्ष 1974 में आर्थिक सहयोग और विकास संगठन (OECD) के ढाँचे के तहत वर्ष 1973 के तेल संकट के बाद में की गई थी।
  • यह वैश्विक ऊर्जा क्षेत्र पर नीतिगत सिफारिशें, विश्लेषण और डेटा प्रदान करता है।

  • यह निम्नलिखित पर फोकस करता है-
    • तेल आपूर्ति व्यवधानों को संबोधित करना।
    • बाजार संबंधी डेटा उपलब्ध कराना।
    • ऊर्जा संरक्षण को बढ़ावा देना।
    • अंतरराष्ट्रीय तकनीकी सहयोग को बढ़ावा देना।
  • समय के साथ अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी का दायरा पारंपरिक और स्वच्छ ऊर्जा स्रोतों सहित संपूर्ण वैश्विक ऊर्जा प्रणाली को कवर करने के लिए विस्तारित हुआ है।
    • इसमें सौर, पवन और जैव ईंधन जैसे नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों के साथ-साथ परमाणु ऊर्जा और हाइड्रोजन प्रौद्योगिकियाँ भी शामिल हैं।
  • रिपोर्ट प्रकाशन: विश्व ऊर्जा आउटलुक रिपोर्ट, विश्व ऊर्जा निवेश रिपोर्ट, विश्व ऊर्जा सांख्यिकी, विश्व ऊर्जा संतुलन, ऊर्जा प्रौद्योगिकी परिप्रेक्ष्य और भारत ऊर्जा आउटलुक रिपोर्ट।

भारत का अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी का हिस्सा बनने के कारण

  • स्वच्छ ऊर्जा में परिवर्तन: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में भारत का समावेश स्वच्छ ऊर्जा स्रोतों में परिवर्तन और विशेष रूप से पेरिस जलवायु समझौते के तहत जलवायु परिवर्तन लक्ष्यों को पूरा करने के अपने लक्ष्यों के अनुरूप है।
  • भू-राजनीतिक प्रभाव: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में शामिल होने से भारत को वैश्विक स्तर पर जलवायु और ऊर्जा मुद्दों में अपने नेतृत्व का दावा करने के लिए एक मंच मिलेगा, जो भारत को अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन (ISA) जैसी पहल की वकालत करने में मदद करेगा।
  • नवीकरणीय ऊर्जा के लिए समर्थन: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी के साथ सहयोग अंतरराष्ट्रीय भागीदारों से समर्थन, विशेषज्ञता और वित्तीय सहायता प्राप्त करके भारत की नवीकरणीय ऊर्जा पहल में सहायता कर सकता है।

अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में भारत के शामिल होने का प्रभाव

लाभ

  • उन्नत ऊर्जा सुरक्षा: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में शामिल होने से, भारत को महत्वपूर्ण ऊर्जा डेटा, बाज़ार विश्लेषण और आपातकालीन प्रतिक्रिया तंत्र तक पहुंच प्राप्त होती है जो इसकी ऊर्जा सुरक्षा को मजबूत करती है।
  • तकनीकी प्रगति: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी सदस्य देशों के साथ सहयोग से भारत को ज्ञान और प्रौद्योगिकियों को साझा करने, स्वच्छ ऊर्जा में अपने संक्रमण को तेज करने और ऊर्जा दक्षता में सुधार करने की अनुमति मिलती है।
  • निवेश के अवसर: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में भारत की सदस्यता उसके ऊर्जा क्षेत्र में विदेशी निवेश को आकर्षित करती हैजो बुनियादी ढांचे के विकास को बढ़ावा देती है और रोजगार के अवसर पैदा करती है।
  • वैश्विक प्रभाव: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी का हिस्सा होने से भारत को वैश्विक ऊर्जा नीतियों को आकार देने और जलवायु परिवर्तन और ऊर्जा पहुंच जैसे मुद्दों पर चर्चा में भाग लेने के लिए एक मंच प्रदान करती है।

चुनौतियाँ

  • प्रभुत्व के संबंध में चिंताएँ: अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी में भारत का शामिल होना निर्णय लेने की प्रक्रिया में विकसित अर्थव्यवस्थाओं के प्रभुत्व के रूप में कुछ चुनौतियाँ लाता है।
  • अनुरूप होने का संभावित दबाव: ऐसी संभावनाएँ हैं कि भारत को अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी के एजेंडे के अनुरूप नीतियों को अपनाने के लिए दबाव का सामना करना पड़ सकता है, जो हमेशा उसकी राष्ट्रीय प्राथमिकताओं के अनुरूप नहीं हो सकता है।

अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी पर प्रभाव

  • विविध परिप्रेक्ष्य: भारत, अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी के लिए अद्वितीय ऊर्जा चुनौतियाँ और दृष्टिकोण प्रस्तुत करता है, जिससे वैश्विक ऊर्जा मुद्दों की समझ को व्यापक बनाने में मदद मिलती है।
  • विकासशील देशों पर ध्यान: भारत की भागीदारी IEA को भारत जैसे विकासशील देशों की आवश्यकताओं और प्राथमिकताओं पर विचार करने के लिए प्रोत्साहित करती है, जो उभरती अर्थव्यवस्थाओं के लिए अधिक समावेशी और प्रासंगिक नीतियाँ  बनाने में मदद करेगी।
  • एशिया में महत्त्व: भारत की सदस्यता एशिया के तेजी से बढ़ते ऊर्जा बाजार में अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी की उपस्थिति और प्रभाव को मजबूत करती है।
  • बढ़ी हुई विश्वसनीयता: ऊर्जा क्षेत्र में भारत की महत्त्वपूर्ण भूमिका के साथ इसका समावेश अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी की विश्वसनीयता और वैश्विक प्रभाव को बढ़ाता है।

Final Result – CIVIL SERVICES EXAMINATION, 2023. PWOnlyIAS is NOW at three new locations Mukherjee Nagar ,Lucknow and Patna , Explore all centers Download UPSC Mains 2023 Question Papers PDF Free Initiative links -1) Download Prahaar 3.0 for Mains Current Affairs PDF both in English and Hindi 2) Daily Main Answer Writing , 3) Daily Current Affairs , Editorial Analysis and quiz , 4) PDF Downloads UPSC Prelims 2023 Trend Analysis cut-off and answer key

THE MOST
LEARNING PLATFORM

Learn From India's Best Faculty

      

Final Result – CIVIL SERVICES EXAMINATION, 2023. PWOnlyIAS is NOW at three new locations Mukherjee Nagar ,Lucknow and Patna , Explore all centers Download UPSC Mains 2023 Question Papers PDF Free Initiative links -1) Download Prahaar 3.0 for Mains Current Affairs PDF both in English and Hindi 2) Daily Main Answer Writing , 3) Daily Current Affairs , Editorial Analysis and quiz , 4) PDF Downloads UPSC Prelims 2023 Trend Analysis cut-off and answer key

<div class="new-fform">







    </div>

    Subscribe our Newsletter
    Sign up now for our exclusive newsletter and be the first to know about our latest Initiatives, Quality Content, and much more.
    *Promise! We won't spam you.
    Yes! I want to Subscribe.