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भारतीय रेल प्रणाली : सुरक्षा एवं कार्यान्वयन चुनौतियाँ

Lokesh Pal October 14, 2024 05:15 83 0

संदर्भ : 

हाल ही में मैसूर से दरभंगा बिहार जाने वाली मैसूर-दरभंगा बागमती एक्सप्रेस ट्रेन चेन्नई, तमिलनाडु के गुम्मिडिपोंडी के पास 75 किमी/घंटे की गति से आगे बढ़ रही थी कि सिग्नल फेल होने के कारण एक खड़ी मालगाड़ी से टकरा गई। जिससे ट्रेन के दो डिब्बों में आग लग गयी और 12 डिब्बे पटरी से उतर गए। हालांकि इस घटना में कोई हताहत नहीं हुआ, लेकिन यह घटना दुर्घटना रोकथाम के लिए मजबूत उपायों की आवश्यकता को उजागर करती है।

दुर्घटना के संभावित कारण :

  • विशेषज्ञ पुराने बुनियादी ढांचे, बढ़ती भीड़ और गैर-आधुनिकीकृत सिग्नल प्रणालियों को इसके लिए जिम्मेदार कारक मानते हैं।
  • सरकार संभावित आतंकवादी लिंक की भी जांच कर रही है, क्योंकि यह दुर्घटना तब हुई जब ट्रेन को गलती से लूप लाइन पर मोड़ दिया गया, जिसके परिणामस्वरूप इस ट्रेन की टक्कर मालगाड़ी हो गई।

भारतीय रेलवे के लिए सुरक्षा उपाय

  • कवच प्रणाली : यह एक स्वचालित ट्रेन सुरक्षा (एटीपी) है, जो ऐसे संभावित जोखिमों को रोककर रेलवे सुरक्षा बढ़ाने के लिए एक प्रस्तावित समाधान है।
    • कवच प्रणाली की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि यदि दो ट्रेनें एक ही ट्रैक पर हों, सिग्नल ओवररन हो या ट्रेन ओवरस्पीड हो, तो यह अपने आप ब्रेक लगा देती है।
    • एक स्वचालित ट्रेन सुरक्षा (एटीपी) सिस्टम एक दशक में पूरे रेलवे नेटवर्क में लगाया जा सकता है और इसकी लागत रेलवे के वार्षिक पूंजीगत व्यय का लगभग 2% होगी, जो वहनीय है ।
  • कर्मचारियों की कार्य स्थितियों में सुधार : हाल की रेल दुर्घटनाएं मानवीय लापरवाहियों की ओर संकेत  करती हैं, जो अक्सर खराब कार्य स्थितियों, जैसे लोकोमोटिव पायलटों के लिए बुनियादी सुविधाओं की कमी, के कारण और भी गंभीर हो जाती हैं।
    • एक व्यापक दृष्टिकोण के तहत उचित कार्य वातावरण, आवश्यक संसाधनों तक सामान्य पहुंच व कार्यात्मक शौचालय आदि जैसी बुनियादी सुविधाओं में सुधार पर ध्यान केंद्रित किया जाना चाहिए।
  • सिग्नल सिस्टम को अपग्रेड करना : इसके साथ ही, पुरानी सिग्नलिंग प्रणालियों को दुरुस्त किया जाना चाहिए तथा जमीनी स्तर पर यात्री सतर्कता को बेहतर बनाना भी महत्वपूर्ण है।
    • रेलवे सुरक्षा लोकोमोटिव पायलटों की कार्य स्थितियों पर भी निर्भर करती है, उनके स्वास्थ्य व परिस्थितियां सीधे तौर पर उनके कुशल संचालन और सुरक्षित संचालन सुनिश्चित करने की क्षमता को प्रभावित करती है।

भारतीय रेलवे के समक्ष चुनौतियाँ

  • सुरक्षा एवं कार्यान्वयन चुनौतियाँ : कवच प्रणाली और अन्य सुरक्षा उपायों को सम्पूर्ण रेल नेटवर्क में प्रभावी ढंग से लागू नहीं किया गया है, जिससे उनका प्रभाव सीमित हो गया है।
  • आर्थिक चुनौतियाँ : राजस्व वृद्धि में कमी और बजटीय आवंटन पर बढ़ती निर्भरता रेलवे के वित्त पर दबाव डाल रही है, जिससे बड़े पैमाने पर निवेश करना मुश्किल हो रहा है।
  • उच्च घनत्व एवं अत्यधिक बोझ : दिल्ली-प्रयागराज जैसे उच्च घनत्व वाले मार्ग, सीमित ट्रैक उपलब्धता के साथ अत्यधिक बोझ से दबे हुए हैं, जिससे क्षमता पर और दबाव पड़ रहा है।
  • माल ढुलाई पर निर्भरता : भारतीय रेलवे राजस्व के लिए कोयले की ढुलाई पर बहुत अधिक निर्भर है, जिससे यह डीकार्बोनाइजेशन दबावों के प्रति संवेदनशील है।
    • हालांकि रेलवे की यात्री सेवाएँ अक्सर घाटे में चलती हैं, माल ढुलाई के माध्यम से उन्हें क्रॉस-सब्सिडी देने के बोझ ने माल ढुलाई दरों को बढ़ा दिया है, जिससे रेलवे के लिए अन्य परिवहन साधनों के साथ प्रतिस्पर्धा करना मुश्किल हो गया है।
  • कोविड-19 प्रभाव : भारतीय रेलवे अब तक भी अपनी महामारी-पूर्व बाजार हिस्सेदारी को हासिल नहीं कर पाई है, जिससे यात्री और माल ढुलाई दोनों सेवाएँ प्रभावित हो रही हैं।

आगे की राह 

  • दोहरा दृष्टिकोण : रेलवे की सुरक्षा के लिए आतंकवाद विरोधी जांच को बढ़ाते हुए सुरक्षा उपायों को लागू करना चाहिए ।
  • संतुलित दृष्टिकोण : रेलवे से संबंधित सुरक्षा, आधुनिकीकरण और आर्थिक व्यवहार्यता के बीच संतुलन स्थापित करना, आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देना और केंद्र सरकार पर निर्भरता कम करने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए ।
  • पारदर्शिता : दुर्घटनाओं के लिए जिम्मेदार कारणों को स्पष्ट करते हुए, पारदर्शिता बनाए रखना, हितधारकों के बीच जवाबदेही और विश्वास सुनिश्चित करना चाहिए।

निष्कर्ष :

भारतीय रेलवे को बेहतर बनाने के लिए एक व्यापक दृष्टिकोण की आवश्यकता है जो तकनीकी प्रगति और बेहतर कार्य स्थितियों को एकीकृत कर बेहतर अवसंरचना पर केंद्रित हो। समय के साथ रेलवे यातायात में, आधुनिकीकरण और पारदर्शिता को प्राथमिकता देने से जोखिम कम होंगे, जनता का विश्वास बढ़ेगा और भविष्य की चुनौतियों के खिलाफ रेलवे नेटवर्क  में लचीलापन सुनिश्चित होगा।

मुख्य परीक्षा पर आधारित प्रश्न :

प्रश्न : भारतीय रेलवे में किन विशिष्ट अवसंरचनात्मक कमियों के कारण हाल ही में दुर्घटनाएँ हुई हैं? ‘कवच’ प्रणाली के क्रियान्वयन से इन कमियों को कैसे दूर किया जा सकता है? 

                                                                                                                                       (10 अंक, 150 शब्द)

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