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Lokesh Pal
July 20, 2024 05:15
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हाल ही में, राजस्थान की एक महत्वपूर्ण भील जनजाति के लोग राजस्थान में एक रैली में बड़ी संख्या में एकत्र हुए और एक स्वतंत्र ‘भील राज्य’ की “लंबे समय से प्रतीक्षित” मांग को बुलंद करने लगे।
प्रारंभिक परीक्षा के लिए प्रासंगिकता: भील प्रदेश, आदिवासी जलियांवाला, गोविंद गुरु, राजस्थान की प्रमुख जनजातियाँ आदि।
मुख्य परीक्षा के लिए प्रासंगिकता: भील प्रदेश, भारत में छोटे राज्यों का निर्माण- आवश्यकता, महत्व, चुनौतियाँ और परिणाम, आदि। |
अतः भारत में, नए राज्यों का निर्माण एक दोधारी तलवार है। हालाँकि इसमें एक तरफ महत्वपूर्ण संभावनाएँ हैं तो वहीं दूसरी ओर इसमें कई चुनौतियाँ भी हैं। इस तरह के महत्वपूर्ण कदम उठाते समय व्यापक राष्ट्रीय हित को ध्यान में रखते हुए एक सूचित, संवेदनशील और सहभागी दृष्टिकोण बहुत ज़रूरी है। स्थानीय शासन को सशक्त बनाने और समय- समय पर उठने वाले ऐसे मामलों (भील प्रदेश, गोरखा लैंड, नागालिम, पश्चिमी उत्तर प्रदेश इत्यादि) के आधार पर राज्य निर्माण की माँगों को निर्धारित करने की आवश्यकता है।
प्रश्न: भारतीय राजनीति में, छोटे राज्यों की मांग एक आवर्ती विषय रही है। भारत में, विशेष रूप से हाल की मांगों के संदर्भ में, छोटे राज्यों के निर्माण के पक्ष और विपक्ष में तर्कों की आलोचनात्मक जांच करें।
(15 अंक, 250 शब्द)
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